रोहतक में ट्राई नेशन बेल्ट रेसलिंग कप: भारत, रूस और उज्बेकिस्तान के 92 खिलाड़ी शामिल

रोहतक में ट्राई नेशन बेल्ट रेसलिंग कप: भारत, रूस और उज्बेकिस्तान के 92 खिलाड़ी शामिल, ओलिंपिक पहलवानों ने दिखाया दम
रोहतक, Parveen Bhardwaj
रोहतक जिले में तीन दिवसीय ट्राई नेशन बेल्ट रेसलिंग कप का आयोजन हुआ, जिसमें भारत, रूस, और उज्बेकिस्तान के कुल 92 खिलाड़ी हिस्सा लेने पहुंचे। इस प्रतियोगिता का आयोजन पाथवे ग्लोबल अलायंस द्वारा किया गया और यह आयोजन शहीद-ए-आजम भगत सिंह की याद में आयोजित किया गया।
इस प्रतियोगिता में भाग लेने वाले पहलवानों में ओलिंपिक खिलाड़ियों ने अपनी शानदार प्रतिभा का प्रदर्शन किया। बेल्ट रेसलिंग की इस कठिन और रोमांचक विधा में, खिलाड़ियों ने अपनी ताकत और तकनीकी कौशल का बेहतरीन प्रदर्शन किया। खास बात यह रही कि इसमें तीन देशों के सर्वश्रेष्ठ खिलाड़ी एक मंच पर जुटे, जिससे इस प्रतियोगिता की प्रतिस्पर्धा और रोमांच को और भी बढ़ा दिया गया।
बेल्ट रेसलिंग में मुकाबला करते हुए खिलाड़ी: प्रतियोगिता में प्रत्येक देश के खिलाड़ियों ने अपनी ताकत, रणनीति और तकनीक का भरपूर उपयोग किया। विशेष रूप से, भारत के पहलवानों ने ओलिंपिक स्तर पर अपनी प्रतिष्ठा का सम्मान रखते हुए शानदार प्रदर्शन किया। प्रतियोगिता में भाग ले रहे खिलाड़ी और उनके कोच अपनी मेहनत और संघर्ष का प्रतीक बने, जो इस खेल के प्रति उनके समर्पण को दर्शाता है।
खिलाड़ियों का प्रदर्शन:
भारत, रूस और उज्बेकिस्तान के पहलवानों ने इस आयोजन में अपनी श्रेष्ठता को साबित किया और दर्शकों को अपने खेल से मंत्रमुग्ध कर दिया। ओलिंपिक पदक विजेता पहलवानों के बीच इस प्रतियोगिता ने उनकी प्रतिस्पर्धा को और भी मजबूत किया। प्रतियोगिता में न केवल युवा खिलाड़ियों को प्रेरणा मिली, बल्कि खेलों के प्रति रुचि बढ़ी और खेलों की संस्कृति को बढ़ावा मिला।
प्रतियोगिता के महत्व पर प्रकाश:
यह आयोजन सिर्फ एक प्रतियोगिता नहीं था, बल्कि तीन देशों के बीच दोस्ती और खेलों के प्रति समर्पण का प्रतीक था। शहीद-ए-आजम भगत सिंह की याद में आयोजित इस इवेंट ने खेलों को एक नई दिशा दी और ओलिंपिक खिलाड़ियों की मेहनत और संघर्ष को सम्मानित किया।
समाप्ति में:
इस आयोजन ने यह स्पष्ट कर दिया कि भारत में खेलों के प्रति जागरूकता और समर्पण में निरंतर वृद्धि हो रही है। आने वाले समय में इस तरह के अंतरराष्ट्रीय आयोजनों से भारतीय खिलाड़ियों को और अधिक अवसर मिलेंगे। हमें उम्मीद है कि इस तरह के आयोजन भारतीय खेलों को नई ऊंचाइयों तक ले जाएंगे।




