कैथल में प्लॉटों पर कब्जे को लेकर विवाद: दो पक्षों ने मिलकर काटी थी कॉलोनी, बेचे गए प्लॉट की भर रहे थे नींव
कैथल, हरियाणा:
हरियाणा के कैथल जिले में ढांड रोड पर स्थित रुद्रा इन्क्लेव कॉलोनी में प्लॉटों पर कब्जा करने को लेकर एक गंभीर विवाद सामने आया है। इस विवाद की जड़ में कॉलोनी के जमीन के रेटों में बढ़ोतरी और बिक्री से जुड़े मुद्दे हैं। यह कॉलोनी पहले दोनों पक्षों ने मिलकर काटी थी, लेकिन जब जमीन की कीमतें बढ़ी, तो दोनों पक्षों के बीच मतभेद उत्पन्न हो गए, जिससे स्थिति में तनाव और हिंसा पैदा हो गई।
कॉलोनी का इतिहास और विवाद की शुरुआत
रुद्रा इन्क्लेव कॉलोनी की शुरुआत दोनों पक्षों के बीच समझौते से हुई थी। दोनों पक्षों ने मिलकर कॉलोनी को काटने का काम किया था और प्लॉटों को बेचना शुरू किया था। शुरू में जमीन के रेट कम थे, लेकिन जैसे-जैसे समय बीता, कॉलोनी के आस-पास के क्षेत्र में विकास और बुनियादी सुविधाओं का विस्तार हुआ, जमीन के रेट कई गुणा बढ़ गए। यह वृद्धि दोनों पक्षों के बीच तनाव का कारण बन गई।
साल 2019 में, कृष्ण वर्मा और कालू राम ने मिलकर कॉलोनी को काटने का काम किया था और प्लॉटों की बिक्री शुरू कर दी थी। हालांकि, जब जमीन की कीमतें बढ़ी, तो दोनों पक्षों के बीच विवाद पैदा हो गया। कॉलोनी के लगभग सभी प्लॉट बेचे जा चुके थे, और आधे से ज्यादा प्लॉटों की रजिस्ट्री भी हो चुकी थी। कुछ लोगों ने तो कॉलोनी में अपने मकान भी बना लिए थे।
विवाद का मुख्य कारण
साल 2024 में, कॉलोनी के कुछ खाली प्लॉटों पर नींव भरने का कार्य शुरू हो गया। रोहतक से आए कालू राम ने अपने मजदूरों और मिस्त्रियों को लेकर इन खाली प्लॉटों की नींव भरने की प्रक्रिया शुरू की। जब दूसरे पक्ष के सदस्य कृष्ण वर्मा और सोनू वर्मा ने इसे देखा, तो उन्होंने विरोध किया और दावा किया कि यह कॉलोनी उन्होंने और कालू राम ने मिलकर काटी थी। उनका कहना था कि पहले कम रेट होने के कारण इस पर कोई विवाद नहीं था, लेकिन अब जब रेट बढ़ गए हैं, तो कालू राम ने अपनी हिस्सेदारी के तहत कब्जा करना शुरू कर दिया।
यह विवाद तब और बढ़ गया जब कालू राम ने आरोप लगाया कि कृष्ण वर्मा ने उसकी हिस्सेदारी का कुछ हिस्सा बेच दिया था और अब वह अपने हिस्से की जमीन पर कब्जा कर रहा था। कालू राम ने पुलिस से शिकायत की और इसके बाद मामला दर्ज किया गया। इसके अलावा, कालू राम ने यह भी आरोप लगाया कि कृष्ण वर्मा ने उसके साथ धोखाधड़ी की है और जमीन की बिक्री से संबंधित गलत काम किए हैं।
पुलिस की कार्रवाई और स्थिति का विकास
जैसे ही विवाद बढ़ा, पुलिस ने मौके पर पहुंचकर दोनों पक्षों को समझाने का प्रयास किया। पुलिस ने दोनों पक्षों से अपने-अपने दस्तावेज़ लेकर सिविल लाइन थाने में पहुंचने की बात कही। इस दौरान कालू राम ने अपनी ओर से रोहतक से कुछ गुंडे लेकर आया और बिना किसी अनुमति के प्लॉटों पर कब्जा करने की कोशिश की। वह नींव भरने का काम कर रहा था, जिसके कारण दोनों पक्षों के बीच झगड़ा और तनाव बढ़ गया।
पुलिस ने तुरंत कार्रवाई करते हुए घटनास्थल पर पहुंचकर स्थिति को नियंत्रित किया। इस दौरान एक संदिग्ध गाड़ी की तलाशी भी ली गई, जिसमें हथियार होने की आशंका थी, लेकिन गाड़ी से कोई हथियार नहीं मिला। पुलिस ने इस मामले की गंभीरता को समझते हुए दोनों पक्षों को थाने में बुलाया और मामले की जांच शुरू की।
कृष्ण वर्मा और कालू राम के बीच विवाद की गहराई
कालू राम ने दावा किया कि यह कॉलोनी उसने और कृष्ण वर्मा ने मिलकर काटी थी, और उसकी आधी जमीन का मालिकाना हक था। लेकिन कृष्ण वर्मा ने उसकी जमीन भी बेच दी थी, जिससे कालू राम में गुस्सा बढ़ा और उसने पुलिस में शिकायत दर्ज करवाई। कालू राम का कहना था कि वह अपनी जमीन पर नींव भरने का काम कर रहा था, जबकि कृष्ण वर्मा ने उसके हिस्से की जमीन पर कब्जा कर लिया था।
दूसरी ओर, कृष्ण वर्मा ने इसे नकारते हुए कहा कि कालू राम की बात पूरी तरह से गलत है। उनका कहना था कि वह और कालू राम पहले अच्छे दोस्त थे, लेकिन अब जब रेट बढ़ गए, तो कालू राम के मन में लालच आ गया और उसने जमीन के कब्जे को लेकर मामले को बढ़ा दिया। कृष्ण वर्मा ने यह भी दावा किया कि कालू राम ने उनसे पैसे और बयाने की मांग की थी, लेकिन वह पूरी तरह से झूठ बोल रहा है।
स्थानीय प्रशासन और पुलिस की भूमिका
किसी भी प्रकार के जबरन कब्जे को रोकने के लिए कैथल पुलिस ने सख्त कदम उठाए हैं। पुलिस ने एसपी राजेश कालिया के निर्देशन में मामले की जांच के लिए डीएसपी गुरविंद्र सिंह की ड्यूटी लगाई है। पुलिस का कहना है कि किसी भी व्यक्ति को उसकी संपत्ति पर अवैध कब्जा करने की अनुमति नहीं दी जाएगी और दोनों पक्षों को अपने दस्तावेज प्रस्तुत करने के लिए कहा गया है।
एसपी ने इस मामले में यह भी कहा कि पुलिस पूरी तरह से निष्पक्ष तरीके से जांच करेगी और किसी भी दोषी को बख्शा नहीं जाएगा। पुलिस ने इस पूरे विवाद में सक्रिय भूमिका निभाई है और कॉलोनी में शांति बनाए रखने के लिए प्रयासरत है।
मामले की जटिलता और समाधान की दिशा
यह मामला अब केवल जमीन के कब्जे का नहीं, बल्कि स्थानीय राजनीति और व्यापारिक दबाव का भी है। कालू राम का दावा है कि उसे अपने हिस्से की जमीन पर कब्जा करने का हक है, जबकि कृष्ण वर्मा का कहना है कि यह पूरी तरह से एक गलतफहमी और धोखाधड़ी का मामला है। पुलिस की जांच और अदालत की प्रक्रिया से यह विवाद जल्द ही सुलझने की उम्मीद है।
यह मामला स्थानीय संपत्ति विवादों का उदाहरण है, जो समय के साथ बढ़ते हैं, जब जमीन की कीमतों में वृद्धि होती है और विभिन्न पक्षों के बीच संघर्ष बढ़ जाता है। कैथल जिले में इस तरह के विवादों के समाधान के लिए प्रशासन को सख्त कदम उठाने की आवश्यकता है, ताकि इस तरह की घटनाओं की पुनरावृत्ति न हो।