
हरियाणा में हैप्पी कार्ड का ऑटोमैटिक रिचार्ज शुरू: भिवानी में SDM ने दी जानकारी, जिले में 1 लाख से अधिक लोगों को फायदा
The Airnews | भिवानी
हरियाणा सरकार ने गरीब और निम्न आय वर्ग के लोगों को एक बड़ी राहत देते हुए ‘हैप्पी कार्ड’ योजना में बड़ा बदलाव किया है। अब यह कार्ड ऑटोमैटिक रिचार्ज होंगे, जिससे लाखों लाभार्थियों को बिना किसी दिक्कत के रोडवेज की सामान्य बसों में मुफ्त यात्रा की सुविधा मिल सकेगी। इस योजना की जानकारी शुक्रवार को तोशाम मंडी में एसडीएम डॉ. नैन ने दी, जहां उन्होंने बताया कि मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी की पहल से यह सुविधा शुरू की गई है।
क्या है हैप्पी कार्ड योजना?
यह योजना पहली बार मार्च 2023 में शुरू की गई थी। इसका उद्देश्य हरियाणा राज्य के गरीब परिवारों को रोडवेज बसों में यात्रा की सुविधा मुफ्त में उपलब्ध कराना था। योजना के तहत ऐसे परिवार जिनकी वार्षिक आय 1 लाख रुपए तक है, उन्हें एक स्मार्ट कार्ड यानी ‘हैप्पी कार्ड’ प्रदान किया जाता है। यह कार्ड धारक एक वर्ष में अधिकतम 1000 किलोमीटर तक मुफ्त यात्रा कर सकता है।
अब तक की समस्या
पिछले कुछ महीनों से यह समस्या सामने आ रही थी कि बहुत से लाभार्थियों के कार्ड की वैधता समाप्त हो चुकी थी और उन्हें दोबारा रिन्यू करवाने के लिए सरकारी दफ्तरों के चक्कर काटने पड़ रहे थे। इससे न केवल उन्हें असुविधा होती थी, बल्कि सरकारी मशीनरी पर भी अनावश्यक दबाव पड़ता था।
ऑटोमैटिक रिचार्ज से मिलेगी राहत
एसडीएम डॉ. नैन ने जानकारी दी कि अब यह कार्ड हर साल स्वतः रिचार्ज हो जाएंगे। यानी जिन लाभार्थियों ने एक बार यह कार्ड प्राप्त कर लिया है, उन्हें हर साल इसके नवीनीकरण के लिए किसी दफ्तर जाने की जरूरत नहीं होगी। इससे लाभार्थियों को समय और श्रम दोनों की बचत होगी और उन्हें लगातार सेवा मिलती रहेगी।
भिवानी जिले में योजना का असर
भिवानी जिले में इस योजना का बहुत बड़ा प्रभाव देखा गया है। रोडवेज जीएम दीपक कुंड के अनुसार, जिले में अब तक कुल 1 लाख 52 हजार 892 हैप्पी कार्ड जारी किए जा चुके हैं। इनमें:
- भिवानी डिपो: 91,448 कार्ड
- तोशाम सब-डिपो: 31,025 कार्ड
- लोहारू सब-डिपो: 30,419 कार्ड
ये आंकड़े दिखाते हैं कि सरकार की यह योजना कितनी व्यापक स्तर पर सफल हो रही है और किस प्रकार यह आम जनता की जरूरतों को पूरा कर रही है।
सामाजिक प्रभाव और भविष्य की दिशा
इस योजना से गरीब परिवारों को न केवल वित्तीय राहत मिलती है, बल्कि यह सामाजिक समावेशन की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम भी है। कई मजदूर, बुजुर्ग और छात्र जो अपने दैनिक कार्यों के लिए यात्रा करते हैं, उनके लिए यह योजना एक वरदान साबित हो रही है।
सरकार का अगला लक्ष्य इस योजना को और अधिक पारदर्शी बनाना और ज्यादा से ज्यादा लोगों तक पहुंचाना है। भविष्य में योजना को डिजिटल आधार से जोड़ने और मोबाइल ऐप्स के माध्यम से रीयल-टाइम अपडेट्स देने की दिशा में भी काम किया जा रहा है।
योजना से जुड़ी चुनौतियां
जहां एक ओर योजना की सराहना हो रही है, वहीं दूसरी ओर कुछ चुनौतियां भी सामने आ रही हैं:
- कुछ ग्रामीण क्षेत्रों में लोगों को कार्ड प्राप्त करने की प्रक्रिया समझ में नहीं आती।
- तकनीकी गड़बड़ियों के कारण कभी-कभी कार्ड स्कैन नहीं होते।
- कई लाभार्थियों को पात्र होते हुए भी जानकारी के अभाव में योजना का लाभ नहीं मिल पाता।
इन समस्याओं से निपटने के लिए सरकार ने हर जिले में हेल्पलाइन केंद्र स्थापित करने की योजना बनाई है और पंचायत स्तर पर जागरूकता शिविर भी आयोजित किए जाएंगे।
एसडीएम का संदेश
एसडीएम डॉ. नैन ने लोगों से अपील की है कि वे इस योजना का अधिक से अधिक लाभ उठाएं और यदि किसी को योजना से संबंधित कोई समस्या आती है तो वे नजदीकी तहसील या रोडवेज कार्यालय से संपर्क करें। उन्होंने यह भी कहा कि सरकार का उद्देश्य समाज के अंतिम पंक्ति के व्यक्ति तक सुविधाएं पहुंचाना है।