हरियाणवी सिंगर केडी का गाना भी यूट्यूब से हटाया: दावा- गाने में न बदमाशी, न गन कल्चर प्रमोट, केवल टाइटल से ही बैन हुआ

कुलबीर दनौदा उर्फ केडी
जींद ( Sahil Kasoon The Airnews) हरियाणा में गन कल्चर को बढ़ावा देने वाले गानों पर कार्रवाई के बीच अब हरियाणवी सिंगर कुलबीर दनौदा उर्फ केडी का एक गाना भी यूट्यूब से बैन कर दिया गया है। केडी का कहना है कि यह गाना पूरी तरह से रोमांटिक था, इसमें न तो गन कल्चर प्रमोट हुआ और न ही बदमाशी दिखाई गई। केवल टाइटल में Weapon (वेपन) शब्द होने की वजह से इसे हटाया गया।
इस गाने पर 20 लाख से ज्यादा व्यूज थे। बैन होने के बाद केवल केडी ही नहीं बल्कि अन्य कलाकार भी हैरान हैं। उनका कहना है कि सरकार या यूट्यूब को यह स्पष्ट करना चाहिए कि आखिर गानों को डिलीट या बैन करने का आधार क्या है।
केडी का कहना है कि गाने में कहीं भी गोली चलाने या हिंसा का सीन नहीं था। सिर्फ दो जगह कलाकारों ने कंधे पर डमी बंदूक टांगी हुई थी। पुराने जमाने में गांव के चौधरियों के पास ऐसे हथियार दिखते थे, उसी आधार पर यह दृश्य फिल्माया गया था।
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रोमांटिक गाना बताया: केडी के मुताबिक वेपन गाना 2024 की शुरुआत में रिलीज़ हुआ था और यह रोमांटिक कैटेगरी में आता है। इसे बिना किसी नोटिस या मेल के अचानक हटा दिया गया।
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गन कल्चर नहीं: उन्होंने कहा कि यह कहना गलत है कि गाना गन कल्चर को प्रमोट करता है। केवल टाइटल और छोटे-से सीन के आधार पर इसे बैन किया गया।
हरियाणवी कलाकार केपी कुंडू ने इस गाने के बैन होने पर सवाल उठाए हैं। उन्होंने इंस्टाग्राम पर स्टोरी डालकर कहा कि सरकार को साफ करना चाहिए कि आखिर किस आधार पर गाने हटाए जा रहे हैं।
हरियाणवी इंडस्ट्री में रैप गानों को लाने का श्रेय केडी और एमडी की जोड़ी को जाता है।
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2011 में आया एलबम देसी विलेजर का गाना पाइया पित्तल सुपरहिट रहा।
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2015 से 2020 के बीच देशी-देशी ना बोल्या कर छोरी रे, फौजियां के तंबू में, और बाय डार्लिंग जैसे गानों ने केडी को नई पहचान दिलाई।
साल 2018 में केडी ने राजनीति में कदम रखा और आम आदमी पार्टी हरियाणा के यूथ प्रेजिडेंट व स्टार कैंपेनर बने।




