फरीदाबाद में हेड कॉन्स्टेबल रिश्वत लेते काबू:ड्राइवर से लिए 8 हजार रुपए; पानी टैंकर को इंपाउंड करने की धमकी
रिपोर्टर: Sahil Kasoon
भूमिका: जब कानून रक्षक ही बन जाएं भ्रष्टाचार के वाहक
हरियाणा के फरीदाबाद जिले से एक चौंकाने वाली खबर सामने आई है, जिसने पुलिस व्यवस्था की साख पर एक बार फिर सवाल खड़े कर दिए हैं। जिस विभाग पर लोगों की सुरक्षा और ट्रैफिक नियंत्रण की जिम्मेदारी है, वही विभाग अब भ्रष्टाचार में लिप्त दिखाई दे रहा है। एंटी करप्शन ब्यूरो (ACB) की टीम ने फरीदाबाद ट्रैफिक पुलिस के एक हेड कांस्टेबल को रिश्वत लेते हुए रंगे हाथ गिरफ्तार किया है। आरोपी ने एक आम नागरिक को धमकाकर उससे आठ हजार रुपये की मांग की थी।
घटना का पूरा विवरण: जेसीबी चौक बना गिरफ्तारी का केंद्र
घटना की शुरुआत तब हुई जब गांव बदरौला निवासी अजीत सिंह ने एंटी करप्शन ब्यूरो, फरीदाबाद कार्यालय में शिकायत दर्ज कराई। अजीत सिंह शहर में टैंकर के माध्यम से पानी की सप्लाई का कार्य करता है। हाल ही में उसने एक नया टैंकर खरीदा था, जिसे वह शहर के अलग-अलग इलाकों में जल आपूर्ति के लिए उपयोग कर रहा था।
शिकायतकर्ता के अनुसार, जेसीबी चौक पर तैनात ट्रैफिक पुलिस का हेड कांस्टेबल रणवीर उसे बार-बार टैंकर इंपाउंड करने की धमकी दे रहा था। रणवीर की धमकी का मुख्य उद्देश्य अजीत सिंह से 8000 रुपये की रिश्वत वसूलना था। जब अजीत ने रकम देने से इनकार किया, तो रणवीर ने टैंकर जब्त करने की धमकी दे डाली।
ACB की सक्रियता: योजना बनाकर की गिरफ्तारी
शिकायत मिलते ही एंटी करप्शन ब्यूरो हरकत में आ गई। उन्होंने एक रणनीति बनाई और सबूत जुटाने के लिए अजीत सिंह को केमिकल लगे हुए नोट सौंपे। इन नोटों पर विशेष प्रकार का रंगीन केमिकल लगाया गया था जो हाथ लगने पर हाथों पर साफ दिखाई देता है। योजना के तहत अजीत सिंह को निर्देश दिया गया कि वह आरोपी रणवीर को तय स्थान पर वही नोट सौंपे।
सोमवार की शाम, अजीत सिंह टैंकर लेकर नेशनल हाईवे नंबर 19 स्थित जेसीबी चौक पहुंचा। जैसे ही ट्रैफिक पुलिस का हेड कांस्टेबल रणवीर सामने आया, अजीत ने उससे बातचीत करते हुए वही 8000 रुपये की रिश्वत केमिकल लगे नोटों के रूप में उसे दे दिए।
रंगे हाथ गिरफ्तारी: भ्रष्टाचार की पोल खुली
जैसे ही नोट रणवीर ने अपने हाथ में लिए, पीछे छिपी एंटी करप्शन ब्यूरो की टीम हरकत में आई। उन्होंने तुरंत रणवीर को पकड़ लिया। रंगे हाथों रिश्वत लेते हुए गिरफ्तार किए जाने के बाद आरोपी के हाथों पर लगे केमिकल का परीक्षण किया गया, जिसमें साफ़ तौर पर रिश्वत की पुष्टि हो गई। यह पूरी प्रक्रिया न सिर्फ ACB के कैमरों में रिकॉर्ड की गई बल्कि प्रत्यक्षदर्शियों की मौजूदगी में भी निष्पक्ष तरीके से अंजाम दी गई।
आरोपी की पहचान और पृष्ठभूमि
पकड़े गए हेड कांस्टेबल की पहचान रणवीर के रूप में हुई है, जो पलवल जिले के गांव हरफली का रहने वाला है। रणवीर काफी समय से ट्रैफिक विभाग में तैनात था और फरीदाबाद में कार्यरत था। सूत्रों की मानें तो रणवीर का व्यवहार पहले भी संदिग्ध रहा है, लेकिन इस बार वह ACB की कार्रवाई में फंस गया।
न्यायिक कार्यवाही: कोर्ट में पेशी और आगे की जांच
गिरफ्तारी के बाद एंटी करप्शन ब्यूरो की टीम ने रणवीर को विधिवत हिरासत में लिया और मंगलवार सुबह उसे कोर्ट में पेश किया गया। कोर्ट ने प्रारंभिक सुनवाई के बाद आरोपी को न्यायिक हिरासत में भेज दिया है। अब ACB इस मामले की गहराई से जांच कर रही है कि क्या रणवीर अकेला ही भ्रष्टाचार में लिप्त था या उसके साथ अन्य कर्मचारी भी इस नेटवर्क में शामिल हैं।